
प्रयागराज की संगम नगरी पहुंचे खरगोश वाले बाबा महामंडलेश्वर कपिल देवदास नागा
प्रयागराज (Prayagraj): संगम की रेती पर चित्रकूट के मां तारा आश्रम के महामंडलेश्वर कपिल देवदास नागा जहां पर बैठते हैं, इनके आसन के चारों ओर खरगोश ही नजर आते हैं.
सांप और बंदर भी पाल चुके हैं बाबा
ये हैं चित्रकूट के मां तारा आश्रम के महामंडलेश्वर कपिल देवदास नागा. ये जहां पर बैठते हैं, इनके आसन के चारों ओर खरगोश ही नजर आते हैं. ये खरगोश बाबा को इतने प्रिय हैं कि बाबा के साथ खरगोश खेलते रहते हैं. बाबा के मुताबिक पिछले 10 वर्षों से उनके आश्रम में खरगोश पाले जा रहे हैं. लेकिन उनका ये शौक इससे भी पुराना है, इससे पहले नागा बाबा सांप और बंदर भी पाल चुके हैं. हालांकि इन खरगोशों की देखभाल महामंडलेश्वर कपिल देवदास नागा की बेटी योगाचार्य राधिका वैष्णव ही करती हैं.
बाबा के आसन पर नजर आते हैं खरगोश

प्रयागराज संगम पर आश्रम में संत के आसन पर तमाम खरगोश खेलते दिखते हैं.
बेटी करती है देखभाल
राधिका बताती हैं कि इन खरगोशों को सब कुछ खिलाया जाता है लेकिन इन्हें फास्ट फूड मोमोज और चाउमीन खास तौर पर पसंद है. जिसके आगे आते ही ये नन्हें खरगोश चट कर जाते हैं. बाबा के आश्रम में दस वयस्क और सात बच्चे खरगोश पाले गए हैं. वहीं महामंडलेश्वर कपिल देवदास नागा के मुताबिक श्वेत रंग शान्ति व एकाग्रता का प्रतीक है और इन खरगोशों का रंग भी यही है. इसलिए इनके आस पास रहने से मन को शान्ति मिलने के साथ ही एकाग्रता आती है, जिससे साधना में कोई विघ्न बाधा नहीं आती है. बाबा के मुताबिक कथा के समय भी ये खरगोश उनके व्यास पीठ के आस-पास ही रहते हैं और भक्तों की भी एकाग्रता इससे बनी रहती है.